भारत के इस अनोखे गांव में प्याज और लहसुन खाने पर बैन के पीछे की वजह जानकर हैरान रह जाएंगे आप

यहां प्याज-लहसुन खाने पर बैन हर तरह की सब्जी बनाने में प्याज का इस्तेमाल होता है. प्याज न केवल खाने का स्वाद बढ़ाता है बल्कि अनगिनत स्वास्थ्य लाभ भी देता है। प्याज को सब्जी बनाने के अलावा सलाद के रूप में कच्चा भी खाया जाता है. यही वजह है कि इन्हें सुपरफूड माना जाता है।
तो ऐसा माना जाता है कि बिना प्याज और लहसुन के इस्तेमाल के ज्यादातर सब्जियों का स्वाद फीका पड़ जाता है लेकिन क्या आप जानते हैं कि भारत के एक अनोखे गांव में प्याज और लहसुन पर बैन है. हम बात कर रहे हैं जिले से करीब 30 किमी दूर बिहार के जहानाबाद के एक गांव त्रिलोकी बीघा की, क्योंकि इस पूरे गांव में कोई भी प्याज नहीं खाता है.
पूरे गांव में बाजार से प्याज और लहसुन लाने पर भी पाबंदी है। इस गांव के लोगों का कहना है कि उनके पूर्वज भी प्याज और लहसुन नहीं खाते थे. ऐसे में अब वह इस परंपरा को नहीं तोड़ सकते हैं।
प्याज-लहसुन तक नहीं खरीदते इस गांव के लोग – गांव में ज्यादातर यादव जाति के लोग हैं जो किसी भी रूप में प्याज-लहसुन नहीं खाते हैं। पूरे गांव में बाजार से प्याज और लहसुन लाना प्रतिबंधित है। इस गांव के लोगों का कहना है कि यहां एक ऐसा मंदिर है जहां देवताओं के श्राप के कारण उन्हें प्याज और लहसुन नहीं खाना पड़ता है।
इस गांव के लोगों ने बताया कि उनके पास प्याज और लहसुन न खाने की एक खास वजह है. इस गांव में एक मंदिर है, जिसे ठाकुरबारी कहा जाता है। इस मंदिर के देवी-देवताओं के श्राप के कारण उन्हें प्याज और लहसुन खाने की मनाही है। गांव के लोगों का दावा है कि यहां रहने वाली एक महिला के मुताबिक कई साल पहले एक परिवार ने इस परंपरा को तोड़ने की कोशिश की थी, जिसके चलते उनके घर में कई अप्रिय घटनाएं हुईं.
तब से यहां कोई ऐसी गलती नहीं करता। ग्राम प्रधान के मुताबिक इस गांव में 35 लोगों का परिवार रहता है. इस गांव में न केवल लहसुन और प्याज पर प्रतिबंध है, बल्कि मांस और शराब पर भी प्रतिबंध है।